इस्लामाबाद: पाकिस्तान में विपक्षी दल जमीयत उलेमाए इस्लाम-एफ (JUI-F) ने इस्लामाबाद में धरना समाप्त करते हुए अपने प्लान ‘बी’ के तहत अब आंदोलन को पूरे पाकिस्तान में फैलाने का फैसला किया है. प्लान ‘बी’ के तहत बुधवार को पार्टी सदस्यों ने देश में कई राजमार्गों को बाधित किया. इनमें बलोचिस्तान का रणनीतिक रूप से जरूरी क्वेट-चमन राजमार्ग भी शामिल रहा.
मौलाना फजल उर-रहमान (FAZL-UR-REHMAN) ने बुधवार को प्रदर्शनकारियों को संबोधित करने के दौरान धरना खत्म करने का ऐलान किया. साथ ही कहा कि अब यह धरना-प्रदर्शन पूरे देश में होगा. उन्होंने कहा कि सरकार चाहती थी कि हम यहां से उठें और उसे सुकून मिले, लेकिन अब तो उसके लिए और भी मुसीबत है क्योंकि अब हम गली-गली फैलेंगे.
मौलाना फजल ने कहा, “मैं पाकिस्तान के कराची से गिलगित बाल्टिस्तान, थारपारकर से चित्राल, ग्वादर से लेकर काशगर तक अपील करता हूं, जहां भी मेरी आवाज सुनी जा रही है उनसे भी कहता हूं कि दूरदराज के क्षेत्रों से सभी पाकिस्तानियों अगर आप शामिल नहीं हो सकते हैं, तो अपने स्वयं के क्षेत्रों में सड़कों पर आने से परहेज न करें. सड़कों पर उतरें और अपना विरोध दर्ज करें.”
जमीयत उलेमाए इस्लाम-एफ (जेयूआई-एफ) के प्रमुख ने कहा कि इस विरोध का मूल उद्देश्य वर्तमान शासकों के देश से छुटकारा पाना है और हम इस मकसद से एक इंच भी डिगने को तैयार नहीं हैं. यह आंदोलन जारी रहेगा. आपको सरकार पर दबाव बढ़ाना होगा, और उन्हें इस्तीफा देने और देश में आम चुनाव कराने के लिए मजबूर करना होगा. हम इससे कम कुछ भी नहीं मानेंगे.”
मौलाना ने कहा, “हम आज ही (बुधवार को) यहां से जाएंगे और उन साथियों के साथ जा मिलेंगे जो अन्य जगहों पर सड़कें ब्लॉक कर रहे हैं. प्लान बी के तहत सूबों में हमारे साथी सड़कों पर निकल आए हैं. हम गिरती दीवार को एक धक्का और देंगे.”
इससे पहले बुधवार को जेयूआई-एफ की केंद्रीय कार्यसमिति की बैठक हुई जिसमें इस्लामाबाद में धरने को समाप्त कर ‘प्लान बी’ के तहत पूरे देश में धरने और सड़कों को बाधित करने का फैसला किया गया.
मौलाना फजल ने मंगलवार को ही प्रदर्शनकारियों को संबोधित करते हुए कह दिया था कि बुधवार से प्लान बी पर अमल शुरू होगा जिसके तहत महत्वपूर्ण मार्गो को बाधित किया जाएगा. उन्होंने पार्टी समर्थकों से हिंसा से दूर रहने को भी कहा था.
जेयूआई-एफ सदस्यों ने बुधवार को क्वेटा-चमन राजमार्ग बाधित कर दिया. इससे राजमार्ग पर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं. इस राजमार्ग से होकर अफगानिस्तान में नाटो सैनिकों के लिए सप्लाई जाती है. इसे बंद करने की वजह से इस सप्लाई पर भी असर पड़ा.
जेयूआई-एफ इमरान सरकार के इस्तीफे की मांग कर रही है. मौलाना फजलुर रहमान ने साफ कर दिया है कि उन्हें प्रधानमंत्री इमरान खान के इस्तीफे से कम कुछ भी मंजूर नहीं है. पार्टी ने 27 अक्टूबर से आजादी मार्च निकालना शुरू किया था और बीते 14 दिन से इसके सदस्य राजधानी इस्लामाबाद में धरने पर डटे हुए थे.
Bureau Report
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