नईदिल्ली: वित्तीय संकल्प और जमा बीमा (FRDI) बिल को संसद के इस शीतकालीन सत्र में शामिल किया जाएगा. सरकारी सूत्रों के अनुसार आर्थिक मामलों का विभाग चार-पांच दिनों में बिल का ड्राफ्ट नोट नीति आयोग, डीएफएस और व्यय विभाग को भेजेगा. मालूम हो कि संसद का आगामी सत्र 18 नवंबर से शुरू होने जा रहा है.
इसके तहत अगर कोई वित्तीय संस्थान विफल हो जाता है तो ऐसे संस्थान के जमाकर्ताओं को 3 से 3.5 लाख तक का जमा बीमा दिए जाने की उम्मीद है. अभी जमा बीमा योजना के अंतर्गत जमाकर्ताओं को 1 लाख रुपए तक ही दिए जाते है.
यही नहीं, जमा बीमा को महंगाई दर यानी मुद्रास्फीति से भी जोड़ने पर विचार-विमर्श किया जा रहा है. मौजूदा हालात को देखते हुए एफआरडीआई बिल को इस शीतकालीन सत्र में लाना बहुत जरूरी हैं, क्योंकि गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां (NBFC) जैसे डीएचएफएल, आईएल&एफएस संकट से जूझ रहे हैं. साथ ही साथ पीएमसी बैंक घोटाले के बाद सरकार और भी सतर्क हो गई है. इस ऐलान से जमाकर्ताओं को थोड़ी राहत जरूर मिलेगी.