नईदिल्ली: उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा में दिल्ली पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है. दिल्ली पुलिस ने 23 लोगों को दंगों में और 36 लोगों को आर्म्स एक्ट में गिरफ्तार किया है. पुलिस ने 36 देसी पिस्टल, 3 पिस्तौल और 46 गोलियां बरामद की हैं. मिली जानकारी के मुताबिक अब तक 87 लोगों को गोलियां लगी हैं और जिले के 9 पुलिस थाने दंगों से प्रभावित रहे हैं. थाना दयालपुर में सबसे ज्यादा लोग मारे गए हैं. थाना करावल नगर, थाना भजनपुरा, थाना गोकलपुरी, जाफराबाद, वेलकम, न्यू उस्मानपुर, ज्योति नगर, खजुरी खास में भी हिंसा के काफी मामले सामने आए हैं.
दिल्ली हिंसा में पुलिस की एक बड़ी चूक भी सामने आई है. पुलिस भीड़ का पुख्ता अनुमान नहीं लगा पाई. 24 फरवरी की हिंसा के बाद ही सीनियर अफसरों ने एक्शन प्लान तैयार किया. 24 फरवरी के बाद हिंसा वाले इलाकों की मैपिंग की गई और तब जाकर फोर्स को सही डायरेक्शन दिया गया.
दंगे वाले इलाकों के बारे में उन अफसरों को ड्यूटी पर कम लगाया गया जो इलाके को बखूबी जानते थे. जो अफसर दंगे वाले इलाकों से अच्छी तरह वाकिफ थे, उन्हें शुरू में कम फोर्स मुहैया कराई गई.
23 फरवरी की शाम महकमे ने हालात पर कोई बड़ा एक्शन नहीं लिया और न ही अतिरिक्त फोर्स की ज्यादा मदद ली. डीसीपी शहादरा, एसीपी गोकलपुरी और शहीद रतन लाल जिस जगह भीड़ का निशाना बने, वहां फोर्स की कमी सबसे ज्यादा थी और वक्त रहते फोर्स समय से नहीं पहुंची.
Bureau Report
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