नई दिल्ली: Vehicle Scrappage Policy Launch: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश में व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी (Vehicle Scrappage Policy) को आज लॉन्च कर दिया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए गुजरात में इन्वेस्टर समिट में इस पॉलिसी को लॉन्च किया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने साल 2021 के केंद्रीय बजट में इस पॉलिसी को पेश किया था.
Vehicle Scrappage Policy लॉन्च
व्हीकल स्क्रैपेज पॉलिसी को लॉन्च करते समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मोबिलिटी किसी भी देश की इकोनॉमी में एक बड़ा रोल निभाती है. नई स्क्रैपेज पॉलिसी भी इकोनॉमी में एक बड़ा रोल निभाएगी. इस पॉलिसी के सिद्धांत हैं Re-use, Recycle और Recovery. ये पॉलिसी देश में 10,000 करोड़ रुपये का निवेश लेकर आएगी. पीएम मोदी ने कहा कि भारत हाईवे निर्माण में Waste Product का इस्तेमाल कर रहा है. इस आयोजन में केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नीतिन गडकरी और गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी भी मौजूद रहे.
अभी पॉलिसी अनिवार्य नहीं
आपको बता दें कि बजट के बाद सड़क और परिवहन मंत्री (Union Minister for Road, Transport and Highways Minister) नितिन गडकरी ने लोकसभा में इस पॉलिसी को लेकर जानकारियां साझा की थी इसके बाद पॉलिसी के लिए एक नोटिफिकेशन जारी किया गया था. हालांकि नई स्क्रैपेज पॉलिसी वॉलिंटियरी है. मतलब ये कि आपको अपनी कार पॉलिसी के तहत स्क्रैप के लिए देनी है या नहीं, ये आप तय करेंगे. इस पॉलिसी के तहत एक तय समय में गाड़ियों का फिटनेस टेस्ट अनिवार्य किया गया है.
पुरानी कार बेचने पर फायदे
इस पॉलिसी को पॉपुलर बनाने के लिए सरकार ने कई तरह की सुविधाएं दी है. जैसे पुराने कार मालिकों को जो अपनी कार को स्क्रैप के लिए देंगे उन्हें एक सर्टिफिकेट दिया जाएगा. जब वो नई कार खरीदने जाएगा तो उसे इस सर्टिफिकेट के आधार पर नई कार के रजिस्ट्रेशन फीस पर छूट मिलेगी. पीएम मोदी ने स्क्रैपेज पॉलिसी के लॉन्च पर कहा कि सरकार की प्राथमिकता अब एथनॉल और हाइड्रोजन ईंधन पर है.
इंडस्ट्री को स्क्रैपेज पॉलिसी का फायदा मिलेगा
पीएम मोदी ने कहा कि ऑटो इंडस्ट्री को भी कोशिश करनी होगी, उन्हें आत्मनिर्भर भारत के लिए एक रोडमैप तैयार करना होगा. पीएम मोदी ने कहा कि स्क्रैपेज पॉलिसी का फायदा ऑटो और मेटल इंडस्ट्री को होगा. स्क्रैपेज पॉलिसी से उपयोगी स्टील स्क्रैप तैयार होगा, जिसका फायदा इंडस्ट्री को पहुंचेगा. भारत अभी 23,000 करोड़ रुपये का स्टील इंपोर्ट करता है.
Bureau Report
Leave a Reply