नईदिल्ली: दिल्ली के मुख्य सचिव अंशु प्रकाश से मारपीट मामले में दिल्ली हाईकोर्ट ने आम आदमी पार्टी विधायक अमानतुल्लाह खान को जमानत दे दी है. इससे पहले शुक्रवार (9 मार्च) को मामले की सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने प्रकाश जरवाल को जमानत दी थी. खान और जरवाल को अदालत ने 22 फरवरी को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया था. मुख्य सचिव के साथ सीएम अरविंद केजरीवाल के घर पर हुई मारपीट के मामले में दिल्ली गवर्नमेंट एम्प्लाइज वेलफेयर एसोसिएशन ने कहा था कि सभी अधिकारी मुख्य सचिव अंशु प्रकाश और अन्य कर्मचारियों की मर्यादा और सुरक्षा की लड़ाई में एकजुट हैं.
सत्र न्यायालय ने जमानत देने से कर दिया था इंकार
अमानतुल्लाह खान और जरवाल को अदालत ने 22 फरवरी को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया था. अदालत ने इस मामले को बेहद संवेदनशील करार दिया था. अगले ही दिन उनकी जमानत याचिकाएं भी खारिज कर दी गई थी. अदालत ने यह माना था कि पहली नजर में परिस्थितियों से यह पता चलता है कि मामला ‘पूर्वनियोजित आपराधिक साजिश’ का है. सत्र अदालत ने जरवाल को जमानत देने से इनकार कर दिया था. जरवाल ने मजिस्ट्रेट अदालत के आदेश को चुनौती देते हुए सत्र अदालत का रूख किया था. इसके बाद दोनों विधायकों ने उच्च न्यायालय का रूख किया. आखिरकार दोनों को जमानत मिल गया.
19 फरवरी की रात को हुई थी मुख्य सचिव से मारपीट
बता दें कि मुख्य सचिव अंशु प्रकाश ने आरोप लगाया था कि 19 फरवरी की रात को वह सोफा पर बैठे थे. उनकी एक तरफ खान और दूसरी तरफ दूसरे आप विधायक थे. बिना किसी भड़कावे के ये दोनों विधायक उनके सिर पर घूसे चलाने लगे. आम आदमी पार्टी ने इस आरोप से इनकार किया है. मुख्य सचिव की शिकायत पर उत्तरी दिल्ली के सिविल लाइंस थाने में मामला दर्ज किया गया था. आम आदमी पार्टी का कहना है कि मुख्य सचिव बीजेपी की शह पर काम करते हैं.
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