बेंगलूरु: 31 दिसंबर की रात बेंगलूरु में जो हुआ, उससे देश में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर किए जाने वाले खोखले दावों की पोल एक बार फिर खुल गई। वाकया इसलिए और ज्यादा शर्मनाक है, क्योंकि जिस शहर में यह हुआ उसे अन्य शहरों के मुकाबले महिलाओं के लिए ज्यादा सुरक्षित माना जाता है। महिलाएं और लड़कियां नए साल के जश्न के लिए बाहर निकली थीं, लेकिन हुड़दंगियों ने उनके साथ जैसी बदतमीजी की उसे देखकर हर कोई दंग रह गया।
मामला बेंगलूरु में एमजी रोड और ब्रिगेड रोड का है, जहां मनचलों ने लड़कियों पर गंदे कंमेंट्स करने शुरू कर दिए, इतना ही नहीं बदमाशों ने एक लड़की के कपड़े फाडऩे की कोशिश भी की। हैरानी की बात है कि इस दौरान मौके पर 1500 पुलिसकर्मी मौजूद थे, लेकिन वे मूक खड़े रहे।
इस घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए राज्य के गृहमंत्री जी परमेश्वर ने कहा कि क्रिसमस और नए साल के जश्न के दौरान ऐसी घटनाएं होती है। उन्होंने कहा कि शहर पूरी तरह से सुरक्षित है और ऐसी घटना दोबारा न हो इसके लिए पूरी कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है, इस तरह की घटना पहले भी हुई हैं। हमने 25 ज्यादा सीसीटीवी कैमरे लगाए है, उनकी जांच की जा रही है।
डीजीपी ओम प्रकाश ने कहा कि इस घटना सामने आने के बाद से दोषियों की पहचान की जा रही है और आवश्यक कदम उठाए जा रहें है। उन्होंने कहा कि नए साल के जश्न पर बड़ी संख्या में पुलिस बल की तैनाती की जाती है।
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