चारा घोटाले के अभियुक्त लालू प्रसाद को गुरुवार को बड़ा झटका!

चारा घोटाले के अभियुक्त लालू प्रसाद को गुरुवार को बड़ा झटका!नईदिल्ली: राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव को बड़ा झटका देते हुए रांची हाइकोर्ट ने उनकी याचिका को खारिज कर दिया है. हाइकोर्ट ने चारा घोटाले की सुनवाई सीबीआई के जज शिवपाल सिंह की अदालत से ट्रांसफर करने की याचिका को खारिज किया है. हाइकोर्ट के जस्टिस अपरेश कुमार सिंह ने मेरिट के आधार पर यह याचिका खारिज कर दी. हाइकोर्ट में दाखिल पीटिशन में लालू के वकील ने कहा था कि चारा घोटाले के दो मामलों को किसी अन्य कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया जाये.

आरजेडी सुप्रीमो के वकील ने कहा था कि सुनवाई कर रहे जज का व्यवहार अच्छा नहीं है. उन लोगों ने अदालत से आरसी 64 ए/96 और आरसी 38 श्व/96 को दूसरी अदालत में ट्रांसफर करने संबंधी याचिका दाखिल की थी जिसे हाइकोर्ट ने खारिज कर दिया.

मीडिया सूत्रों के मुताबिक जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि मामले को स्थानांतरित करने के लिए दिया गया आधार तर्कपूर्ण नहीं है.

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के आलोक में भी इस याचिका में कोई मेरिट नहीं है. हालांकि अदालत ने लालू को छूट दी कि यदि वह चाहते हैं कि गवाह सुनील कुमार की फिर से गवाही कराई जाए, तो वह सीबीआई कोर्ट से इसका आग्रह कर सकते हैं. उनके आग्रह पर सीबीआई कोर्ट विचार करेगी.

लालू प्रसाद ने सीबीआई के विशेष जज शिवपाल सिंह की अदालत पर अविश्वास जताया था और कहा था कि इस कोर्ट से उन्हें न्याय मिलने की उम्मीद नहीं है. जज पर आरोप लगाया था कि वह उनके गवाह के साथ सही तरीके से पेश नहीं आ रहे हैं. गवाह से जाति पूछने के बाद उन्हें कोर्ट से  बाहर कर दिया. डीजी रैंक के अधिकारी सुनील कुमार की पहले गवाही नहीं ली और जब गवाही लेने से मना किया गया, तो उन्होंने कोर्ट का गवाह बनाकर गवाही दर्ज कराई. इससे प्रतीत होता है कि अदालत लालू के प्रति पूर्वाग्रह से ग्रसित है. इस कारण चारा घोटाले के जितने मामले इस कोर्ट में लंबित हैं उन्हें दूसरी अदालत में स्थानातंरित कर देना चाहिए.

लालू की इस दलील का सीबीआई ने विरोध किया था और कहा था कि जो भी आरोप लगाए गए हैं वह बेबुनियाद हैं. लालू की यह पुरानी आदत है. पिछली बार भी सीबीआई जज पर उन्होंने ऐसा ही आरोप लगाया था, जिसे हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया था.

Bureau Report

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