नईदिल्ली: प्रसिद्ध हस्तियों वाले बॉलीवुड के कपूर परिवार ने अपने ऐतिहासिक आरके स्टूडियो को बेचने का सामूहिक फैसला लिया है. परिवार से जुड़ी करीना कपूर खान ने कहा है कि उनके दादा राज कपूर द्वारा बनाए गए इस स्टूडियो से उनकी बहुत अच्छी यादें जुड़ी हैं. करीना ने एक इंटरव्यू में कहा, ‘मुझे पूरी बात पता नहीं है कि सच में क्या हो रहा है. मेरी सेहत कुछ दिनों से ठीक नहीं है और मैं पिछले चार-पांच दिन से अपने पिता से नहीं मिली हूं. लेकिन, निश्चित ही, हम सब इन्हीं गलियारों में पलकर बड़े हुए हैं’.
करीना ने यहां लैक्मे फैशन वीक में कहा, ‘मुझे लगता है कि शायद परिवार ने इस बारे में फैसला किया है. तो, अब यह मेरे पिता और उनके भाइयों पर है. अगर उन्होंने यही तय किया है तो यही सही’. सत्तर साल पुराने दो एकड़ में फैले आरके स्टूडियो को बेचने का फैसला कपूर परिवार के लिए भी कठिन रहा है. लेकिन, बीते साल आग लगने की घटना में स्टूडियो का एक हिस्सा तबाह हो गया था. अब इसे फिर से बनाना आर्थिक रूप से सही नहीं माना जा रहा है.
परिवार की तरफ से अभिनेता ऋषि कपूर ने मुंबई मिरर को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि शुरू में उन लोगों ने इस स्टूडियो को स्टेट आफ द आर्ट प्रौद्योगिकी के साथ फिर से बनाने पर विचार किया था. लेकिन फिर विचार करने के बाद ये लगा कि स्टूडियो को फिर से बनाने में होने वाला निवेश इतना राजस्व नहीं पैदा करेगा कि इसे चलाते रहा जा सके. उन्होंने इसे ठंडे दिमाग से सोच समझकर लिया गया फैसला बताया.
फिल्म प्रोडक्शन कंपनी आर.के.फिल्म्स के मुख्यालय आर.के. स्टूडियो का निर्माण 1948 में किया गया था और इसका नाम महान शोमैन राजकपूर के नाम पर रखा गया था. आर.के. फिल्म्स ने बॉलीवुड को ‘बरसात’ (1949), ‘आवारा’ (1951), ‘श्री-420’ (1955) और ‘जागते रहो’ (1956) जैसी फिल्में दी हैं.
Bureau Report
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