चीन ने एक बार फिर अपनी ‘नापाक’ हरकत को अंजाम दिया है और संयुक्त राष्ट्र में लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी साजिद मीर को वैश्विक आतंकवादी घोषित करने के लिए लाए गए प्रस्ताव पर अड़ंगा लगा दिया है. बता दें कि यूनाइडेट नेशंस सिक्योरिटी काउंसिल की बैठक में अमेरिका ने यह प्रस्ताव पेश किया था, जिसका सह प्रस्तावक भारत था. बता दें कि चीन द्वारा वीटो लगाए जाने के बाद भारत ने यूएन में ड्रैगन की पोल खोल दी है. बता दें कि भारत ने अक्टूबर 2022 में मुंबई में हुई यूएनएससी की बैठक में 26/11 हमले के आतंकी साजिद मीर का ऑडियो सुनाया था, जिसमें वो आतंकियों को निर्देश दे रहा है. बता दें कि साजिद मीर इस समय पाकिस्तान में मौजूद है और 26 नवंबर 2008 को मुंबई में हुए आतंकी हमले में शामिल होने के कारण वॉन्टेड है.
चीन साजिद मीर को ग्लोबल टेररिस्ट डिक्लेयर होने से रोका
चीन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की 1267 अल कायदा प्रतिबंध समिति के तहत वैश्विक आतंकवादी के रूप में मीर को ब्लैक लिस्ट में डालने और उसकी संपत्ति जब्त करने, यात्रा प्रतिबंध और हथियार प्रतिबंध लगाने के प्रस्ताव पर अड़ंगा लगा दिया है. बता दें इस प्रस्ताव को अमेरिका द्वारा पेश किया गया, जिसे उसने भारत के साथ मिलकर तैयार किया था. इससे पहले पिछले साल सितंबर में भी चीन ने संयुक्त राष्ट्र में साजिद मीर को आतंकवादी घोषित करने के प्रस्ताव पर अड़ंगा लगा दिया था. पाकिस्तान का सदाबहार दोस्त चीन यूएनएससी की प्रतिबंध समिति के तहत पाकिस्तान में मौजूद आतंकवादियों को ब्लैक लिस्ट में डालने की प्रक्रिया में बार-बार अड़ंगा लगा रहा है.
पाकिस्तान ने पहले किया था मृत घोषित
पाकिस्तानी अधिकारियों ने पहले दावा किया था कि साजि मीर की मृत्यु हो गई, लेकिन पश्चिमी देशों ने उसकी मृत्यु का प्रमाण मांगा. पिछले साल के अंत में वित्तीय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) द्वारा कार्य योजना पर पाकिस्तान की प्रगति के आकलन में यह मुद्दा एक प्रमुख बाधा बन गया. मीर पाकिस्तान स्थित लश्कर का वरिष्ठ सदस्य है और नवंबर 2008 में मुंबई में हुए आतंकवादी हमलों में संलिप्तता के लिए वॉन्टेड है. अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा है, ‘मीर हमलों के लिए लश्कर-ए-तैयबा का संचालन प्रबंधक था, जो उसकी साजिश, तैयारी और अंजाम देने में अग्रणी भूमिका निभा रहा था.’
कई आतंकी हमलों में शामिल रहा है साजिद मीर
अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा था कि मीर लगभग 2001 से लश्कर-ए-तैयबा का सक्रिय सदस्य है. साल 2006 से 2011 तक, मीर लश्कर के बाहरी अभियानों का प्रभारी था और उसने समूह की ओर से विभिन्न आतंकवादी हमलों की साजिश रची और इसे अंजाम देने में भूमिका निभाई. इसके अलावा, साजिद मीर ने 2008 और 2009 के बीच डेनमार्क में एक अखबार के कर्मचारियों के खिलाफ आतंकवादी हमले की साजिश रची. मुंबई हमलों में उसकी भूमिका के लिए, साजिद मीर को अप्रैल 2011 में अमेरिका में आरोपी ठहराया गया था. अगस्त 2012 में, अमेरिकी कोषागार विभाग ने साजिद मीर को वैश्विक आतंकवादी के रूप में घोषित किया.
Bureau Report
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