
जिले में प्रसिद्ध कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा के दौरान बड़ा हादसा हो गया। दरअसल मौसम के अचानक बदल जाने से तेज हवाओं तथा धूल भरी आंधी के चलते कथा स्थल पर लगा विशाल पंडाल गिर गया और वहां मौजूद लगभग 15 हजार लोगों में भगदड़ जैसी स्थिति बन गई। घटना में एक महिला, एक पुरुष और एक बच्चा घायल हो गए। तीनों को तुरंत एंबुलेंस की सहायता से नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां प्राथमिक उपचार के बाद उनकी हालत स्थिर बताई जा रही है।
प्रशासन की अनुमति नहीं थी
यहां गौर करने लायक बात यह रही कि कार्यक्रम जिला प्रशासन की अनुमति के बिना आयोजित किया गया था। रतनगढ़ के पुलिस क्षेत्राधिकारी अनिल कुमार ने बताया कि आयोजन को लेकर जिला कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक पहले ही स्थल का निरीक्षण कर आयोजकों को सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करने के निर्देश दे चुके थे, लेकिन आयोजकों ने इन निर्देशों को नजरअंदाज कर दिया। इसी लापरवाही का नतीजा यह हादसा बन गया।
बताया जा रहा है कि भगदड़ के दौरान कई महिला श्रद्धालुओं के साथ चेन स्नेचिंग की भी घटना हुई है। हादसे की सूचना मिलते ही रतनगढ़ थानाधिकारी दिलीप सिंह शेखावत मय पुलिस जाप्ते के मौके पर पहुंचे और टेंट में फंसी महिला श्रद्धालुओं को बाहर निकलवाया। वहीं सुजानगढ़ एडीएम मंगलाराम, एएसपी दिनेश कुमार, एसडीएम रामकुमार सहित प्रशासनिक व पुलिस अधिकारी भी मौके पर पहुंचे।
उपखंड अधिकारी ने दी जानकारी
उपखंड अधिकारी राम कुमार ने भी इस बारे में पुष्टि की कि आयोजकों को कार्यक्रम की अनुमति नहीं दी गई थी, क्योंकि वे सुरक्षा मानकों पर खरे नहीं उतर रहे थे। बावजूद इसके शुक्रवार को कार्यक्रम शुरू कर दिया गया। उन्होंने बताया कि बनाए गए पंडाल की संरचना असुरक्षित थी और मौके पर आपातकालीन प्रबंध जैसे फायर सेफ्टी, एंबुलेंस और पर्याप्त सुरक्षा कर्मियों की व्यवस्था भी नहीं थी।
वक्त रहते टला बड़ा हादसा
कथा के दौरान पंडाल गिरने से भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गई, लेकिन स्थानीय पुलिस और प्रशासन की तत्परता से वक्त रहते लोगों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। हादसे के दौरान पंडाल के साथ जुड़ा एक लाउड स्पीकर खंभा पास ही से गुजर रही बिजली की लाइन पर गिर गया। हालांकि बिजली विभाग ने तुरंत बिजली आपूर्ति बंद कर दी, जिससे एक बड़ा हादसा टल गया।
कार्यक्रम रद्द, कानूनी कार्रवाई की तैयारी
हादसे के बाद प्रशासन ने तत्परता दिखाते हुए आयोजन स्थल को तुरंत खाली करवाया और कार्यक्रम को रद्द कर दिया। साथ ही आयोजकों के खिलाफ बिना अनुमति और सुरक्षा मानकों की अवहेलना करने पर कानूनी कार्रवाई की बात भी की जा रही है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है और यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि आयोजन के लिए किससे अनुमति ली गई थी और किस स्तर पर लापरवाही बरती गई।
Bureau Report
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