नए आतंकियों की ‘भर्ती’ के लिए हिजबुल के निशाने पर हैं कश्‍मीर के उच्‍च शिक्षण संस्‍थान!

नए आतंकियों की 'भर्ती' के लिए हिजबुल के निशाने पर हैं कश्‍मीर के उच्‍च शिक्षण संस्‍थान!नईदिल्‍ली: नए आतंकियों की भर्ती के लिए हिजबुल मुजाहिद्दीन सहित अन्‍य आतंकियों के निशाने पर इन‍ दिनों जम्‍मू-कश्‍मीर के उच्‍च शिक्षण संस्‍थानों हैं. आतंकी संगठन उच्‍च शिक्षण संस्‍थानों में पढ़ने वाले उन छात्रों एवं शिक्षकों अपना निशाना बना रहे हैं, जो न केवल अच्‍छे परिवारों से ताल्‍लुक रखते हैं बल्कि अच्‍छे स्‍कॉलर भी हैं. 8 जुलाई को आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दीन द्वारा जारी आतंकियों की नई सूची से यह बात एक बार फिर साबित हो गई है. 

दरअसल, 8 जुलाई को हिजबुल ने 8 और लश्‍कर-ए-तैयबा ने 2 आतंकी बने युवाओं की सूची जारी की थी. इन आतंकियों में एक नाम शोपियां के 25 वर्षीय शमशुल हक मेंगनू का भी था. शमशुल श्रीनगर के जकूरा स्थिति एक मेडिकल कॉलेज में बैचलर आफ यूनानी मेडिसिन एण्‍ड सर्जरी (BUMS) का छात्र था. शमशुल के परिवार की गिनती शोपियां के सबसे संपन्‍न परिवारों में होती है. आतंकी बने इस छात्र का बड़ा भाई असम – मेघालय कैडर का आईपीएस अधिकारी भी है. 

हर महीने एक पेशेवर आतंकी बनाने की है साजिश
जम्‍मू-कश्‍मीर में तैनात एक वरिष्‍ठ सुरक्षा अधिकारी के अनुसार, कश्‍मीर के अमन को बर्बाद करने में तुले आतंकी संगठन हर महीने एक पेशेवर को आतंक की दुनियां में ढकेलने का मंसूबा पाले हुए हैं. बीते छह महीनों में चार ऐसे आतंकियों के नाम सामने आ चुके हैं, जो या तो उच्‍च शिक्षित हैं या किसी नेक पेशे से जुड़े रहे हैं. इन नामों में सबसे पहले पीएचडी स्‍कॉलर मनन बशीर वानी का नाम जनवरी में सामने आया था. 

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