ईदगाह मैदान में ही होगा गणेश उत्सव, कर्नाटक हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, भारी पुलिस बल की तैनाती

ईदगाह मैदान में ही होगा गणेश उत्सव, कर्नाटक हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, भारी पुलिस बल की तैनाती

कर्नाटक उच्च न्यायालय ने हुबली-धारवाड़ के ईदगाह मैदान में गणेश चतुर्थी मनाने की अनुमति देने के फैसले को बरकरार रखा। कोर्ट ने धार्मिक कार्य को न करने देने वाली याचिकाओं को खारिज किया है। गणेश प्रतिमा को मैदान में स्थापित करने की तैयारी चल रही है। मामले की सुनवाई करते हुए कर्नाटक हाईकोर्ट ने कहा कि इसमें कोई विवाद नहीं है। वहीं सरकार की तरफ से दलील दी गई कि संपत्ति विवादित है लेकिन इस दलील को भी कोर्ट ने खारिज कर दिया। हालांकि इससे पहले इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में देर रात सुनवाई हुई। शीर्ष कोर्ट ने दो पक्षों की ओर से यथास्थिति बरकरार रखने का आदेश दिया था।  साथ ही मामले के पक्षों को विवाद निवारण के लिए कर्नाटक हाई कोर्ट जाने का निर्देश दिया था। इसके बाद देर रात हाई कोर्ट ने यह आदेश दिया।

उच्च न्यायालय ने याचिकाकर्ता की दलील की खारिज
अंजुमन-ए-इस्लाम ने दावा किया था कि विचाराधीन संपत्ति को पूजा स्थल अधिनियम, 1991 के तहत संरक्षित किया गया था, जो कहता है कि किसी भी धार्मिक पूजा स्थल को परिवर्तित नहीं किया जा सकता है। उच्च न्यायालय ने विचाराधीन संपत्ति के मामले में कहा, यह धार्मिक पूजा स्थल नहीं था और केवल बकरीद और रमजान के दौरान नमाज के लिए अनुमति दी गई थी। अन्य समय के दौरान, इसका उपयोग बाजार और पार्किंग स्थल जैसे उद्देश्यों के लिए किया जाता था। उच्च न्यायालय ने कहा कि बेंगलुरू के चामराजपेट मैदान में यथास्थिति बनाए रखने का उच्चतम न्यायालय का आदेश भी इस मामले पर लागू नहीं होता।

अदालत ने बताया कि चमराजपेट मुद्दे में संपत्ति के स्वामित्व को लेकर विवाद शामिल है, जबकि हुबली मैदान नगरपालिका का है, जिसे अंजुमन-ए-इस्लाम ने भी स्वीकार किया है। शीर्ष अदालत ने बेंगलुरु मामले में यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया और राज्य सरकार द्वारा मनाए जाने वाले गणेश चतुर्थी उत्सव को रोकना पड़ा। इस मामले का जिक्र हुबली मामले में हुआ था। न्यायमूर्ति किनागी ने रात 10 बजे अपने आधिकारिक कक्ष में मामले की सुनवाई की। उन्होंने राज्य सरकार के अधिवक्ता समेत पक्षों को सुनने के बाद रात 11.15 बजे आदेश सुनाया।

Bureau Report

Be the first to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published.


*